Sunday, November 24, 2024
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प्रभु कथा के श्रवण, मनन और चिंतन से होते है कष्ट दूर: आचार्य पुण्डरीक

वृंदावन। ठाकुरजी के नाम स्मरण में बहुत शक्ति है। प्रभु की कथाओं का चिंतन, मनन और श्रवण करने से बड़े से बड़ा कष्ट भी दूर हो जाता है। इसी प्रकार उनकी कृपा से कोरोना महामारी भी जल्द समाप्त हो जाएगी।

यह विचार कथा प्रवक्ता श्रीमन्माध्वगौड़ेश्वर आचार्य पुण्डरीक गोस्वामी ने ज्ञानगुदड़ी क्षेत्र स्थित वैजयंती आश्रम में प्रवचन के दौरान व्यक्त किए। उन्होंने कहा कि ठाकुरजी ने अपने विभिन्न अवतारों के माध्यम से प्रकृति संरक्षण सहित अनेक संदेश दिए। यदि उन संदेशों को भक्त आत्मसात कर सही ढंग से पालन करे तो इस प्रकार की महामारी उत्पन्न ही न हो। साथ ही उन्होंने कहा कि कोरोनाकाल में अनलाॅक के दौरान धार्मिक, सांस्कृतिक आदि कार्यक्रमों के लिए सशर्त छूट मिलने पर कार्यक्रमों की शृंखला शुरू हुई है।

इसी के अंतर्गत उनके द्वारा भी विगत दिनों अयोध्या में श्रीराम कथा का आयोजन किया गया। जहां उन्होंने सैंकड़ों श्रोताओं को कथा श्रवण का लाभ प्रदान करने के साथ ही कोविड-19 के नियमों का अनुपालन कराने के साथ ही आगे भी पालन करने का संकल्प दिलाया। इसी के चलते उनका यह कार्यक्रम सफलता पूर्वक संपन्न हुआ। साथ ही उन्होंने कहा कि अभी भी कोरोनाकाल चल रहा है और इसके बचाव का एकमात्र उपाय सावधानी है। उन्होंने इसके लिए लोगों से फेसमास्क, सेनेटाइजर एवं सोशल डिस्टेंसिंग का पालन करने का आहवान किया।

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