मथुरा। संस्कृति विवि के मैकेनिकल डिप्लोमा के तृतीय वर्ष के विद्यार्थियों ने लघु, सूक्ष्म और मध्यम मंत्रालय(एमएसएमई) के आगरा केंद्र पर जाकर रोबोट प्रोग्रामिक प्रशिक्षण कार्यक्रम में भाग लिया। प्रशिक्षण कार्यक्रम में विद्यार्थियों को रोबोट कैसे प्रोग्रामिंग करता है, इस बारे में विशेषज्ञों द्वारा विस्तार से बताया गया।
प्रशिक्षक तुषार और उनके दल ने विद्यार्थियों को डेमो देते हुए बताया कि रोबोट एक मशीन है जो इस तरह से बनाई जाती है की एक से ज्यादा कामों को खुद ही एक गति और शुद्धता के साथ पूरी कर ले। कुछ रोबोट को नियंत्रित करने के लिए एक्सटर्नल डिवाइस का प्रयोग किया जाता है और बहुत से रोबोट में नियंत्रण के लिए उसके अंदर ही कंट्रोल डिवाइस लगी रहती है। रोबोट मैकेनिकल, साफ्टवेयर और इलेक्ट्रानिक इंजीनियरिंग के संयुक्त प्रयासों का परिणाम है। इसमें सभी का रोल लगभग एक समान ही होता है।
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Posted by Neo News-Har Pal Ki Khabar on Wednesday, 7 April 2021
प्रशिक्षकों ने बताया कि रोबोट में हर तरह के कामों के लिए अलग-अलग मशीनें लगाई जाती हैं। अलग-अलग कामों के लिए रोबोट के ब्रेन में प्रोग्राम डाले जाते हैं, जिनसे वह निर्देश प्राप्त कर काम को अंजाम देते हैं। यह प्रोग्राम के अनुसार ही काम करता है। प्रशिक्षकों ने विद्यार्थियों को रोबोट की प्रोग्रामिंग की बारिकियों को बड़े ही सहज और सरल तरीके से करके दिखाया। इस क्रम ने अपनी जिज्ञासाओं को लेकर अनेक सवाल पूछे, जिनका संतुष्टिपूर्ण उत्तर दिया गया।
संस्कृति विवि के विद्यार्थियों के इस दल में धर्मेंद्र सिंह, प्रशांत और मोहन श्याम के साथ 25 छात्र शामिल थे। संस्कृति स्कूल आफ इंजीनियरिंग एंड टेक्नोलाजी के विभागाध्यक्ष विंसेंट बालू ने बताया कि ऐसे शैक्षिक भ्रमण जिनमें विद्यार्थी मशीनों को सामने काम करते देखते हैं, बड़े उपयोगी साबित होते हैं। विद्यार्थी इस तरह से बहुत आसानी से विषय वस्तु को समझ लेते हैं और उनको याद रहता है।