नई दिल्ली। कोरोना महामारी के बीच मुसलमानों की सबसे पवित्र हज यात्रा शनिवार ( 17 जुलाई) से शुरू हो गई है। हालांकि इस बार महामारी के चलते केवल 60,000 लोग ही हज कर सकेंगे। कोरोना को देखते हुए इस बार हज यात्रा के लिए एक गाइड लाइन बनाई गई है। जिसमें सिर्फ सऊदी अरब के स्थानीय लोगों को ही हज करने की अनुमति मिली है। इसके साथ ही वैक्सीन की दोनों डोज लेने वाले लोगों ही यात्रा की इजाजत दी गई है।
इस बार सऊदी अरब के यात्रियों को लॉटरी सिस्टम से चुना गया है। हज के लिए सऊदी अरब 5.58 लाख लोगों में से केवल 60 हजार को चुना गया। चुने गए सभी लोगों बिना किसी लंबी बीमारी वाले हैं और वैक्सीन की दोनों डोज ले चुके हैं।
हज यात्रा के दौरान गाइडलाइंस का पालन किया जा रहा है। सऊदी अरब के हज मंत्रालय के अनुसार प्रत्येक तीन घंटे पर पवित्र शहर मक्का में 6000 लोग पहुंचे हैं। हर ग्रुप के लौटने के बाद यहां स्टेरलाइजेशन होता है।
हज यात्रियों को 20-20 के ग्रप में बांटा गया है जिससे संक्रमण नहीं फैल सके। हर ग्रुप पर एक गाइड करने और नियमों का पालन कराने के लिए एक व्यक्ति होता है। हज यात्रियों को मक्का की ग्रैंड मस्जिद तक बस से लाया जा रहा है और फिर वे काबा की परिक्रमा कर रहे हैं।
भारत सहित दूसरे देश को लोगों को हज यात्रा की इजाजत नहीं
कोरोना महामारी को देखते हुए भारत समेत दूसरे देशों के मुसलमानों को लगातार दूसरे साल हज यात्रा करने की इजाजत नहीं दी गई।। पिछले साल मार्च में कोरोना वायरस फैलने के बाद हज यात्रा के लिए भारत से यात्रियों को अनुमति नहीं दी गई थी और सऊदी अरब में पहले से रह रहे लगभग एक हजार लोगों को ही हज के लिये चुना गया था। सामान्य हालातों में हर साल लगभग 20 लाख मुसलमान हज करते हैं।