मथुरा। संस्कृति विश्वविद्यालय में पूरे जोश-खरोश के साथ देश का 73वांगणतंत्र दिवस मनाया गया। इस मौके पर विश्वविद्यालय के प्रति कुलपति डा. राकेशप्रेमी ने झंडारोहण किया और शिक्षकों व विद्यार्थियों ने देश भक्ति के गगनभेदीनारे लगाकर वातावरण गुंजायमान कर दिया। इस मौके पर एनसीसी के कैडेट्स ने झंडे कोसलामी दी और विद्यार्थियों ने रंगारंग कार्यक्रम भी प्रस्तुत किए।संस्कृति विवि के शिक्षकों और विद्यार्थियों को संबोधित करते हुए प्रतिकुलपति डा. राकेश प्रेमी ने कहा कि आज हम अपने देश का 73वां गणतंत्र दिवसमना रहे हैं।
हमारा देश 15 अगस्त 1947 को आजाद जरूर हुआ था लेकिन हमारासंविधान 26 जनवरी 1950 को लागू हुआ था। 26 जनवरी 1950 ही वह दिन था जब भारत पूर्ण गणतंत्रबना। इसी वजह से हर साल 26 जनवरी का दिनराष्ट्रीय पर्व गणतंत्र दिवस के तौर पर मनाया जाता है। पहली बार गणतंत्र दिवस 26 जनवरी 1950 को मनाया गया था। यह वो दिन था जब से हम कहने लगे कि हमभारतवासियों का अपना संविधान व कानून है और हमें ब्रिटिश राज से पूरी तरह आजादी मिलगई है। साथियों यह संविधान ही है जो भारत के नागरिकों के एक सूत्र में बांधे रखताहै इसलिए यह दिन हमारे लिए बेहद खास है।
संविधान वह दस्तावेज है जो बताता है किभारत सरकार कैसे काम करती है और इस देश नागरिकों के क्या अधिकार व कर्तव्य हैं। यहदिन भारत में राष्ट्रीय पर्व के तौर पर मनाया जाता है। उन्होंने देश के उन महान नेताओं औरस्वतंत्रता सेनानियों को धन्यवाद दिया, जिन्होंने अपने जीवन का बलिदान दिया। उन्होंने कहा कि इनके बलिदान केकारण ही हम आज लोकतांत्रिक राष्ट्र में रह रहे हैं। उन्होंने अपनी बात जय हिन्द! भारत माता की जय! वंदेमातरम्! के नारों के साथ पूरी की।इस मौके पर संस्कृति विवि के शिक्षक डा. विपिन सोलंकी के नेतृत्व में विवि केएनसीसी के कैडेटों ने शानदार परेड के साथ तिरंगे को सलामी दी।
विवि केविद्यार्थियों ने देशभक्ति से ओतप्रोत रंगारंग कार्यक्रम प्रस्तुत किए और वक्तव्यदिए। गणतंत्र दिवस के इस कार्यक्रम में संस्कृति नर्सिंग स्कूल के प्राचार्य डा.केके पाराशर, डा. विशाल, डिप्टी रजिस्ट्रार रवि कुमार, डा. अनुपमा,एडमिनिस्ट्रेटिव आफिसर विवेक श्रीवास्तव आदि अनेक अधिकारी और कर्मचारियों ने भागलिया।