मथुरा। संस्कृति विश्वविद्यालय के सभागार में इनोटिव भारत 2.0 के बैनर तले दो दिवसीय पीपीटी प्रेजेंटेशन कंपटीशन का आयोजन किया गया। इस अवसर पर इनोटिव भारत 2.0 के संचालक एवं आरएसएस के विभाग प्रचारक अरुण पांचजन्य ने विद्यार्थियों को प्रोत्साहित करते हुए कहा कि आपको अपने आइडिया को सामने लाना चाहिए। उन्होंने कहा कि पश्चिमी सोच मनुष्य को भी प्राणी मात्र मानती है, जिसमें सभी आते हैं। ऐसा नहीं है मनुष्य के पास प्रतिक्रिया की अपार संभावनाएं हैं जो निरंतर परिष्कृत होती रहती हैं।
कार्यक्रम के मुख्य अतिथि अरुण पांचजन्य का विद्यार्थियों से कहना था कि आपके अंदर प्रतिभा दबी न रह जाय इसलिए ऐसे आयोजन किए जा रहे हैं। आपको अपने आइडिया की पीपीटी बनानी चाहिए और प्रतियोगिताओं में भाग लेकर उसका आकलन कराना चाहिए। विद्यार्थियों को अपनी रचनात्मकता को मरने नहीं देना चाहिए। हमारी कोशिश है कि हमारे देश के युवाओं का टेलेंट मौके के अभाव में दम न तोड़े इसलिए ऐसे आयोजन द्वारा उनको मौके दिए जा रहे हैं। विद्यार्थियों को ऐसे मौकों का लाभ उठाना चाहिए। आपकी इस ऊर्जा का सबके लिए उपयोग होगा तो सबका लाभ होगा और देश प्रगति करेगा।
संस्कृति विवि के चांसलर डा. सचिन गुप्ता ने इस मौके पर कहा कि विद्यार्थियों को यह सोचना होगा कि वे अपना देश कैसा चाहते हैं। जब ये सोचेंगे तो उसी तरह के आइडिया भी दिमाग में आएंगे। उन्होंने कहा कि आपका नजरिया सकारात्मक होना चाहिए। प्रयास करेंगे तो अपने आइडिया को साकार भी कर सकेंगे। उन्होंने सभी विद्यार्थियों से ऐसे आयोजनों में बढ़-चढ़कर भाग लेने के लिए भी प्रोत्साहित किया गया। विश्वविद्यालय की सीईओ डा. मीनाक्षी शर्मा, कैप के डायरेक्टर डॉ. रजनीश त्यागी व डा कमल कौशिक ने भी छात्रों का मार्ग दर्शन किया। छात्रों ने पीपीटी प्रजेंटेशन किया। दूसरे दिन इंजीनियरिंग टैक्नोलॉजी, मेडिकल हैल्थ केयर व इकोनोमिक्स एण्ड ला पर पीपीटी प्रजेंटेशन किया।
पीपीटी पर अपनी टिप्पणी के लिए निर्णायक दल में डा कंचन सिंह, डा.मोनिका एबरोल, रतीश शर्मा शामिल रहे। कार्यक्रम का संचालन अनुजा गुप्ता व संयोजन डा. डीएस तोमर डीन छात्र कल्याण द्वारा किया गया। कार्यक्रम में डा राजश्री, डा उर्वशी शर्मा, डा कुंदन चौबे, डा अभिषेक वर्मा आदि शिक्षकों सहित सैकड़ों पंजीकृत छात्रों ने भाग लिया।
संस्कृति विवि में इनोटिव भारत 2.0 पर छात्रों ने प्रस्तुत कीं पीपीटी
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