
मथुरा। एआई और ऑटोमेशन दोनों ही महत्वपूर्ण तकनीकें हैं जो व्यवसायों के कुशल संचालन तथा उत्पादकता बढ़ाने में मददगार हैं। एआई मशीनों को मानव जैसी सोच और निर्णय लेने की क्षमता प्रदान करती है जबकि ऑटोमेशन मानव श्रम को कम करने और कार्यों को स्वचालित करने पर केन्द्रित है। इन तकनीकों को एक साथ मिलाकर संगठनों को और भी अधिक कुशल तथा उत्पादक बनाया जा सकता है। यह बातें इन्फोटेक प्रा.लि. के निदेशक मनु कपूर ने राजीव एकेडमी फॉर टेक्नोलॉजी एण्ड मैनेजमेंट के छात्र-छात्राओं को बताईं।
आर्टिफिशियल इण्टेलिजेंसी एण्ड ऑटोमेशन विषय पर बोलते हुए अतिथि वक्ता मनु कपूर ने कहा कि यह मशीनों को मनुष्यों की तरह सोचने और काम करने में सक्षम बनाता है। इसके कई फायदे हैं जैसे कि यह बड़ी मात्रा में डेटा को प्रोसेस कर सकता है। यह डेटा से सीखता है और निर्णय लेता है तथा यह गतिशील वातावरण में भी काम कर सकता है। उन्होंने कहा कि एआई ऑटोमेशन का उपयोग करके व्यवसायों को अपनी प्रक्रिया को स्वचालित करके मानव त्रुटियों को कम करके दक्षता में सुधार करने में मदद मिल सकती है।
श्री कपूर ने कहा कि एआई व ऑटोमेशन के उपयोग से व्यवसायों को अपनी उत्पादकता में सुधार करने में मदद मिल सकती है क्योंकि वे कम समय में अधिक काम कर सकते हैं। इसके प्रयोग से व्यवसायों को मानव कार्यबल से राहत मिल सकती है। एआई का उपयोग करके व्यवसायों के डेटा का विश्लेषण करके और बेहतर निर्णय लेने में मदद मिल सकती है। छात्र-छात्राओं को सम्बोधित करते हुए इनोवर्क इन्फोटेक के सीनियर ट्रेनिंग आफिसर नितिन कुमार ने कहा कि एआई और ऑटोमेशन दोनों ही तकनीक महत्वपूर्ण हैं। इनका अधिक से अधिक प्रयोग कर व्यवसाय को अधिक कुशल, उत्पादक और प्रतिस्पर्धी बनाया जा सकता है।
उन्होंने कहा कि एआई का उपयोग स्वचालन को बेहतर बनाने के लिए किया जा सकता है। इससे मशीनें जहां जटिल कार्यों को कर सकती हैं वहीं मानव हस्तक्षेप की आवश्यकता भी कम हो जाती है। उन्होंने कहा कि आर्टिफिशियल इण्टेलिजेंसी के निरन्तर कार्यान्वयन से व्यवसायों को अपनी उत्पादकता में सुधार करने में मदद मिल सकती है। यह ग्राहक-सामना करने वाले उद्योगों के लिए विशेष रूप से महत्वपूर्ण है। विशेषज्ञों ने छात्र-छात्राओं को जहां मशीन लर्निंग और डीप लर्निंग के अन्तर से रूबरू कराया वहीं डीप लर्निंग और न्यूरल नेटवर्क पर भी विस्तार से जानकारी दी।
कार्यक्रम में छात्र-छात्राओं ने डेटा माइनिंग और बिग डेटा की जानकारी भी जुटाई। इस अवसर पर एसएमओसी सोशल मीडिया के बारे में छात्र-छात्राओं को समाधान देते हुए अनालिटिक्स और क्लाउड पर विस्तृत विश्लेषण प्रस्तुत किया गया। विशेषज्ञों ने अंतिम वर्ष के छात्र-छात्राओं को अपने प्रोजेक्ट बनाने के लिए कई प्रकार के सम्भावित टॅापिक्स बताए गए। इतना ही नहीं उन्हें बैंकिंग सेक्टर में करिअर निर्माण हेतु महत्वपूर्ण टिप्स भी दिए। अंत में संस्थान के निदेशक डॉ. अभिषेक सिंह भदौरिया ने अतिथि वक्ताओं का छात्र-छात्राओं को बहुमूल्य समय देने के लिए आभार माना।
चित्र कैप्शनः राजीव एकेडमी के छात्र-छात्राओं को एआई और ऑटोमेशन की जानकारी देते हुए इन्फोटेक प्रा.लि. के निदेशक मनु कपूर।