नई दिल्ली। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय द्वारा जारी किए आंकड़ों के अनुसार बुधवार को देश में कोविड-19 के संक्रमण से मरने वालों की संख्या डेढ़ लाख के पार हो गई। 150,114 मौतों के साथ ही भारत में कोरोना संक्रमण के कुल मामलों की संख्या 1 करोड़ 3 लाख 75 हज़ार के पास पहुंच गई है। कोरोना संक्रमण के लिहाज़ से भारत दुनिया में कोरोना से सबसे ज्यादा ग्रस्त देशों की लिस्ट में दूसरे नंबर पर बना हुआ ह,ै जबकि मौतों के मामले में तीसरा देश है, जहां डेढ़ लाख का आंकड़ा पार हो गया।
वहीं यूरोप में कोरोना संक्रमण से वर्तमान में हालात बिगड़ रहे हैं। कुछ देशों में वैक्सीन कार्यक्रम शुरू हो चुका है, लेकिन संक्रमण पर फिलहाल काबू पाए जाने जैसी स्थिति नहीं है। संक्रमणों के लिहाज़ से दुनिया में जो तीन देश सबसे अधिक चपेट में हैं, उनके केसों को मिलाकर देखा जाए तो पूरी दुनिया के तक़रीबन आधे केस दिखते हैं। जानिए कोरोना से त्रस्त देशों का क्या हाल हैं।
अमेरिका – टीकाकरण अभियान शुरू हो गया है। लेकिन यह अभियान ठीक ढंग से न चलने की खबरें आ रही हैं। अमेरिका में बुधवार तक के आंकड़ों के मुताबिक पिछले एक दिन में करीब 3900 मौतें होने की खबर पर जॉन होपकिन्स यूनिवर्सिटी ने इसे 24 घंटों का नया रिकॉर्ड बताया है। स्रोतों की मानें तो अमेरिका में फिलहाल कोरोना मामलों की संख्या 2,11,03,926 और मौतों की संख्या 3,57,394 हो चुकी है।
ब्राज़ील – दक्षिण अमेरिका के इस देश में वैक्सीन को स्वीकृति अभी तक नहीं मिल सकी है जबकि यहां केसों की संख्या लगातार बढ़ती दिख रही है। ब्राज़ील में कुल संक्रमणों का आंकड़ा 78,10,400 है, जो भारत से कम है, लेकिन मृत्यु दर ज्यादा होने के कारण यहां भारत के मुकाबले ज़्यादा 1,97,732 मौतें हो चुकी हैं. यानी भारत ने डेढ़ लाख मौतों का आंकड़ा पार किया है और ब्राज़ील 2 लाख के आंकड़े के करीब है।
मेक्सिको – चकित करने वाली बात यह है कि यह देश केसों के हिसाब से सबसे जयादा प्रभावित 10 देशों में नहीं है, लेकिन मौतों के आंकड़े के मामले में यह चौथा सबसे ज्यादा ग्रस्त देश है। 128,822 मौतों के साथ यहां डेथ रेट बहुत ज्यादा है क्योंकि कुल मामले 15 लाख भी नहीं हैं। इमरजेंसी यूज़ के लिए यहां एस्ट्राज़ेनेका की वैक्सीन को मंज़ूरी मिल चुकी है।
रूस – क्षेत्रफल के हिसाब से दुनिया का सबसे बड़ा यह देश कोविड-19 केसों की संख्या के हिसाब से चौथे नंबर पर है। 32,50,713 कुल केसों वाले रूस में स्वदेशी वैक्सीन स्पूतनिक का जन टीकाकरण कार्यक्रम शुरू हो चुका है। यहां डेथ रेट यूरोपीय देशों के मुकाबले कम होने के चलते अब तक 58,706 मौतों का आंकड़ा है।
इंग्लेंड- कोरोना के नए स्ट्रेन के मिलने की खबरों के बीच यहां संक्रमण का नया दौर यहां जारी है। इस कारण इस देश में नए सिरे से लॉकडाउन की नौबत आई है। वैक्सीन कार्यक्रम शुरू होने के बावजूद यहां संक्रमण रुकने का नाम नहीं ले रहा। 2,782,709 कुल केसों के साथ ही कोविड से मौतों का आंकड़ा 76,428 तक पहुंच चुका है।
इटली – कोरोना वायरस के संक्रमण से मौतें यूके की तुलना में इटली में कम हुई हैं। लेकिन फ्रांस की तरह यहां भी केसों की संख्या को देखते हुए खतरा बना हुआ है। 21,81,619 कुल केसों में से 76,329 मामलों में मौत होने से इटली सबसे ज़्यादा ग्रस्त देशों की लिस्ट में शुमार है। यूरोपीय संघ के वैक्सीन खरीदी प्रोग्राम के तहत जनवरी के आखिरी दो हफ्तों में इटली को फाइज़र की वैक्सीन के करीब 34 लाख डोज़ मिलेंगे।
फ्रांस – यूके के मुकाबले यहां कोविड से मृत्यु दर कम बताई गई लेकिन इसके बावजूद दुनिया के सबसे ज्यादा कोरोना ग्रस्त देशों में फ्रांस शुमार है। 66,417 मौतें यहां तब हुई हैं जब केसों की कुल संख्या 27,37,884 रही। यहां वैक्सीन कार्यक्रम को लेकर बेहद धीमी गति आलोचना का विषय बनी हुई है और इस तरह की नीति को फ्रांस के लिए नुकसानदायक बताया जा रहा है।
स्पेन – यूरोप का यह देश कोरोना के सबसे ज्यादा मामलों और ज्यादा मृत्यु दर के लिए चर्चा में बना रहा। कुल केसों का ताज़ा आंकड़ा 19,82,544 है तो मौतें 51,430 हो चुकी हैं। पिछले दो हफ्तों में यहां 1,40,255 नए केस सामने आए हैं। फ्रांस की तरह यहां भी टीकाकरण कार्यक्रम की गति बहुत धीमी है।
अन्य देश – सबसे ज्यादा मौतों के मामले में देखा जाए तो कोलंबिया में 44,428 और अर्जेंटीना में 43,785 मौतों का आंकड़ा है, जो स्पेन के बाद लिस्ट में है। वहीं केसलोड के मामले में टॉप लिस्ट में जर्मनी और तुर्की शामिल हैं। जर्मनी में 18,14,565 केस हैं लेकिन कुल मौतें 36,757 हैं. वहीं, तुर्की में 22,70,101 केसों में से 21,879 मामलों में मरीज़ों की मौत हुई।
कुल मिलाकर स्थिति यह है कि कई देशों में वैक्सीन कार्यक्रम शुरू हो जाने के बाद भी वैश्विक महामारी कोविड-19 की रोकथाम फिलहाल होती नहीं दिख रही है। दुनिया भर में अब भी सवा 7 लाख से ज़्यादा नए केस और 15 हज़ार से ज़्यादा मौतें हर रोज़ हो रही हैं। विशेषज्ञ बार-बार कह रहे हैं कि तमाम सावधानियां बरतना ही अभी उपाय है।
- सभी फाइल फोटो हैं।