मथुरा। ब्रज बेटरन्स पूना हॉर्स परिवार द्वारा पूर्व सैनिकों का सम्मान समारोह आयोजित किया। कुशाब युद्ध की जीत की 165 वीं वर्षगाठ पर मनाए गए इस समारोह का मुख्य उद्देश्य पूर्व सैनिकों से उनके ड्यूटी के दौरान पराक्रम और साहस की कहानी सुनना था। जिससे आने वाली युवा पीढ़ी को देश की आर्मी के जज्बे की जानकारी हो सके साथ ही फ़ौज में युवा जाने के लिए प्रेरित हों।
इस समारोह में वे पूर्व सैनिक मुख्य रूप से मौजूद रहे जिन्होंने 1965 और 1971 की लडाई लड़ी। इन सभी जबानों ने अपने-अपने अनुभव व्यक्त किए। आपको बता दें कि यह कार्यक्रम को साहब युद्ध की जीत की 165 वीं वर्षगांठ के उपलक्ष में आयोजित किया गया था। धर्मेंद्र सिंह द्वारा बताया गया कि वर्ष 1856 में रेजिमेंट ने परसिया के खिलाफ कसाब की लड़ाई जीती थी।
युद्ध के दौरान लेफ्टिनेंट जज मालकमसं को उनके अदम्य साहस और वीरता के लिए विक्टोरिया क्रॉस पदक से नवाजा गया था जो उस समय का सर्वोच्च युद्ध पदक था। उन्होंने बताया कि रेजिमेंट ने प्रथम खुद गई रेजिमेंट के ध्वज को भी कब्जे में लिया था जिसके बाद ऊपर विराजमान हैंड ऑफ गॉड आज भी रेजिमेंट को हर मुश्किल में एक साइलेंट मार्गदर्शक की भूमिका निभाता है।